कांग्रेस को जबरदस्त झटका, नतीजों से पहले ही बिहार में पूर्व केंद्रीय मंत्री शकील अहमद ने छोड़ी पार्टी,88 साल पुराना नाता तोड़ा

बिहार से कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय राज्यमंत्री डॉ. शकील अहमद ने मंगलवार को पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा दे दिया. उन्होंने अपना इस्तीफा कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे को भेजा और कहा कि यह फैसला उन्होंने भारी मन से लिया है.

कांग्रेस को जबरदस्त झटका, नतीजों से पहले ही बिहार में पूर्व केंद्रीय मंत्री शकील अहमद ने छोड़ी पार्टी,88 साल पुराना नाता तोड़ा

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता और पूर्व केंद्रीय राज्य मंत्री शकील अहमद ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से इस्तीफा देने की घोषणा कर दी है. उन्होंने इस्तीफे की वजह बिहार में स्थानीय नेतृत्व के साथ मतभेद बताई है.

बिहार में विधानसभा चुनाव के नतीजे 14 नवंबर को आएंगे. आज दूसरे चरण की वोटिंग समाप्त होने के बाद एग्जिट पोल सामने आए. जिसमें ज्यादातर सर्वे एजेंसियों ने NDA को फिर से स्पष्ट बहुमत के साथ सत्ता में आने की बात कही. एग्जिट पोल की बातें नतीजों में कितनी सच होती है, यह तो देखने वाली बात होगी. लेकिन इस बीच कांग्रेस को एक झटका लगा है. पार्टी के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष शकील अहमद ने कांग्रेस से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे को पत्र लिखकर पार्टी से इस्तीफे की घोषणा की है

शकील अहमद ने लिखा है कि उनके दादा अहमद गफूर 1937 में कांग्रेस के विधायक चुने गए थे और इसके बाद उनके पिता शकूर अहमद 1952 से 1977 के बीच पांच बार कांग्रेस के टिकट पर विधायक चुने गए और पार्टी में कई पदों पर रहे। शकील अहमद खुद भी 1985 के बाद से पांच बार कांग्रेस के टिकट पर विधायक और सांसद चुने जा चुके हैं। .

शकील अहमद ने यह भी लिखा है कि उन्होंने पार्टी छोड़ने का फैसला पहले ही कर लिया था लेकिन इसकी घोषणा मतदान समाप्त होने के बाद इसलिए की क्योंकि वह नहीं चाहते थे कि इससे कोई गलत संदेश जाए और उनकी वजह से पार्टी को नुकसान हो।

कांग्रेस के पूर्व बिहार अध्यक्ष डॉ. शकील अहमद का इस्तीफा

कांग्रेस के बड़े नेता और पूर्व प्रदेश अध्यक्ष डॉ. शकील अहमद ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने अपने पत्र में लिखा- मैंने 16 अप्रैल को पत्र लिखकर पार्टी को सूचना दी थी कि मैं अब कभी चुनाव नहीं लड़ूंगा. मेरे तीनों बेटे कनाडा में है. उसमें से भी कोई राजनाति में नहीं आना चाहता. मैं जीवन भर कांग्रेस में बना रहूंगा. लेकिन बहुत ही दुखी मन से मैंने कांग्रेस से इस्तीफा देने का फैसला लिया है.

पत्र में लिखा- मैं किसी दूसरी पार्टी में नहीं जा रहा हूं

हालांकि उन्होंने अपने पत्र में आगे लिखा कि मैं किसी दूसरी पार्टी में नहीं शामिल होने जा रहा हूं. मैं जीवन भर कांग्रेस की नीतियों और सिद्धांतों का समर्थक बना रहूंगा. उन्होंने आगे लिखा कि मैंने इस्तीफा देने का मन पहले ही बना लिया था. लेकिन आज मतदान समाप्त होने के बाद इसकी घोषणा कर रहा हूं. ताकि मतदान से पहले कोई गलत संदेश नहीं जाए.

उन्होंने यह भी लिखा कि मेरा मतभेद पार्टी की सत्ता में बैठे कुछ व्यक्तियों से हो सकता है, लेकिन पार्टी की नीतियों और सिद्धांतों पर मुझे अटूट विश्वास है.