PM के साथ बैठक में BJP शासित राज्यों की लॉकडाउन बढ़ाने की मांग तो कांग्रेस CMs ने मांगा आर्थिक पैकेज'

कांग्रेस के वरिष्ठ नेता तथा पुदुचेरी के मुख्यमंत्री वी नारायणसामी ने कहा है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के साथ कोरोना संकट को लेकर मुख्यमंत्रियों की सोमवार को हुई बैठक में ज्यादा राज्यों ने लॉक डाउन की अवधि बढ़ाने की इच्छा जाहिर की है।


नारायणसामी ने प्रधानमंत्री के साथ मुख्यमंत्रियों की बैठक के बाद संवाददाता सम्मेलन में सवालों के जवाब में कहा कि सबसे पहले लॉकडाउन को लेकर ही पीएम मोदी ने अपनी बात कहीं और बताया कि कृषि आदि क्षेत्रों में काम को छूट दी जानी आवश्यक है। उन्होंने यह भी कहा कि कृषि कार्य तथा अन्य कार्यों को सामाजिक दूरी के नियम का पालन करते हुए आरंभ किया जा रहा है।


कांग्रेस नेता ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी के शासन वाले राज्यों के लगभग सभी मुख्यमंत्रियों ने लॉकडाउन बढ़ाने की इच्छा जाहिर की जबकि कांग्रेस तथा कुछ अन्य दलों के मुख्यमंत्रियों ने केंद्र से कोरोना से लड़ने के लिए आर्थिक पैकेज की मांग की। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्रियों ने केंद्र से वस्तु एवं सेवाकर-जीएसटी तथा अन्य मदों के बकाया का तत्काल भुगतान करने भी आग्रह किया ताकि राज्य मजबूती से कोरोना से लड़ सके।


नारायणसामी ने कहा कि पुदुचेरी में तीन लोग कोरोना संक्रमित हैं और उनका इलाज चल रहा है। उन्होंने कहा पुदुचेरी बहुत छोटा राज्य है उसकी आर्थिक स्थिति बहुत अच्छी नहीं है इसलिए केंद्र उसे जीएसटी के बकाया पैसा तथा अन्य बकाया लौटाए। उनका कहना था कि राज्य को सातवें वेतन आयोग का बकाया भी केंद्र से चार साल से नहीं मिला है और उन्होंने इस पैसे के साथ ही केंद्र से राज्य को आर्थिक पैकेज दिए जाने की भी मांग की। 


नारायणसामी ने कहा कि पुदुचेरी ग्रीन जोन में है लेकिन कोरोना के खिलाफ उनकी लड़ाई तत्परता से लड़ी जा रही है। उन्होंने कहा कि उनका राज्य बहुत छोटा है और उसके पास बहुत अच्छे संसाधन नहीं हैं। आर्थिक स्थिति ठीक नहीं होने के काराण राज्य को कोरोना से लड़ने के लिए ज्यादा निधि की जरूरत है। उनका कहना था कि लगभग सभी राज्यों की आर्थिक स्थिति एक जैसी है इसलिए इस समस्या से लड़ने के लिए राज्यों को एक लाख करोड रुपए की आर्थिक मदद दी जानी चाहिए।


उन्होंने कहा कि पीएम मोदी के साथ प्रवासी मजदूरों का मुद्दा भी उठाया गया और उनसे देश के प्रवासी मजूदूरों के लिए नीति बनाने का आग्रह किया गया है। मुख्यमंत्रियों ने कहा कि श्रमिकों के पास काम ही नहीं है इसलिए वे जहां हैं उनका वहां रह पाना कठिन हो गया है। उन्हें वापस उनके घर भेजने के लिए केंद्र सरकार को एक राष्ट्रीय नीति तय करनी चाहिए।


मुख्यमंत्री ने कहा कि कोरोना से लड़ने के लिए पर्याप्त टेस्टिंग की सुविधा उपलब्ध कराने की भी केंद्र से मांग की गयी है और कहा गया है कि राज्य सरकार को अच्छी टेस्टिंग किट के साथ ही कोरोना से बचाव के लिए जरूरी पीपीई उपलबध कराई जानी चाहिए।  इससे पहले हुई कांग्रेस की प्रेस ब्रीफिंग में उसके प्रवक्ता मनीष तिवारी ने कोरोना टेस्टिंग किट में हुए र्भ्रष्टाचार पर गहरा रोष व्यक्त किया और कहा कि जब पूरा देश कोरोना एकजुट होकर लड़ रहा है तो पांच लाख कोरोना टेस्टिंग किट की खरीद में भ्रष्टाचारियों ने 19 करोड रुपए की मुनाफा खोरी की है। उन्होंने इसे गंभीर स्थिति करार देते हुए पूरे मामले की जांच कराने की मांग की है। 


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